मुंबई एकता कपूर मम्मी बन गई हैं. एकता कपूर के घर बेबी बॉय आया है. टीवी से लेकर सिनेमा तक में अलग तरह के कंटेंट से धमाल मचाने वाली एकता कपूर को सोशल मीडिया पर बधाई देने का सिलसिला शुरू हो चुका है. मुंबई मिरर की रिपोर्ट के मुताबिक, बॉलीवुड एक्टर जीतेंद्र की बिटिया एकता कपूर के बेटे का जन्म 27 जनवरी को हुआ और वे स्वस्थ है. इस रिपोर्ट में यह भी बताया गया है कि बच्चे को कपूर खानदान किसी भी समय घर ले कर आ सकता है. सोशल मीडिया पर एकता कपूर एकता कपूर को बधाई देने वालों में फिल्म डायरेक्टर हंसल मेहता से लेकर संजय गुप्ता तक शामिल हैं. इस तरह बॉलीवुड एक्टर जीतेंद्र नाना बन गए हैं और बच्चे का नाम, उन्हीं के नाम पर यानी रवि कपूर रखा गया है.
पूरी प्रक्रिया के दौरान एकता कपूर को निर्देशित करने वाली डॉ नंदिता पलशेतकर ने कहा,"मां बनने के लिए कुछ साल पहले एकता कपूर मेरे पास आई थीं. हमने उन्हें आईयूआई और आइवीएफ की कई प्रक्रिया के साथ गर्भवती होने में मदद करने की कोशिश की थी. लेकिन हम असफल रहे। इसलिए हमें सरोगेसी की तकनीक की मदद लेनी पड़ी जो हमने अपने ब्लूम आईवीएफ सेंटर में 9 महीने पहले की थी, नौ महीने बाद आखिरकार रविवार को एक बच्चे के जन्म के साथ उन्होंने सफलता हासिल कर ली है.” बच्चे का नाम एकता के पिता के नाम पर रवि कपूर रखा गया है. यह पहली बार हुआ है कि किसी महिला सेलेब्रिटी ने सरोगेसी का यह रास्ता चुना है और वह सिंगल मॉम बन गई हैं.
एकता कपूर ने बताया, "भगवान की कृपा से, मैंने अपने जीवन में कई सफलताओं को देखा है, लेकिन मेरे जीवन में इस खूबसूरत बच्चे के आने की भावना पूरी दुनिया से अलग है. मैं यह व्यक्त भी नहीं कर सकती कि मेरे बच्चे के जन्म ने मुझे कितना खुश किया है. जीवन में सब कुछ उस तरह से नहीं होता जैसा आप चाहते हैं, लेकिन उन अड़चनों का हमेशा समाधान होता है. मैंने अपना समाधान पाया और आज मैं मां बनकर बहुत धन्य महसूस कर रही हूं. यह मेरे और मेरे परिवार के लिए एक भावनात्मक क्षण है और मैं एक मां होने के इस नए सफर की शुरुआत करने के लिए इंतजार नहीं कर सकती. मैं डॉ नंदिता पलशेतकर को धन्यवाद देना चाहूंगी, जिनके निरंतर समर्थन और मार्गदर्शन के कारण मैं अपना सपना पूरा कर पाई."
वक़्फ़ संशोधन बिल के विरोधियों को लखनऊ पुलिस द्वारा भेजा गया नोटिस असंवैधानिक, सुप्रीम कोर्ट ले एक्शन- शाहनवाज़ आलम
नयी दिल्ली, 11 अप्रैल 2025 . कांग्रेस के राष्ट्रीय सचिव शाहनवाज़ आलम ने उत्तर प्रदेश पुलिस पर वक़्फ़ संशोधन विधेयक के खिलाफ विचार रखने वाले नागरिकों के संविधान प्रदत्त अभिव्यक्ति की आज़ादी और विरोध करने के मौलिक अधिकारों के हनन करने का आरोप लगाया है. उन्होंने सुप्रीम कोर्ट से अपने फैसलों की अवमानना पर स्वतः संज्ञान लेकर दोषी पुलिस अधिकारियों के खिलाफ़ कार्यवाई की मांग की है. शाहनवाज़ आलम ने जारी प्रेस विज्ञप्ति में कहा है कि लखनऊ के कई नागरिकों को लखनऊ पुलिस द्वारा उनकी तरफ से वक़्फ़ संशोधन विधेयक के खिलाफ़ होने वाले संभावित प्रदर्शनों में शामिल होने का अंदेशा जताकर उन्हें नोटिस भेजा गया है. जबकि अभी नागरिकों की तरफ से कोई विरोध प्रदर्शन आयोजित हुआ भी नहीं है. सबसे गम्भीर मुद्दा यह है कि इन नोटिसों में नागरिकों को अगले एक साल तक के लिए उनसे शांति भंग का खतरा बताते हुए 50 हज़ार रुपये भी जमा कराने के साथ इतनी धनराशि की दो ज़मानतें भी मांगी जा रही हैं. शाहनवाज़ आलम ने कहा कि यूपी पुलिस यह कैसे भूल सकती है कि उसकी यह कार्यवाई संविधान के अनुच्छेद 19 का उल्लंघन है जो नागर...
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